देहरादून। चुनावी दहलीज में खड़ी प्रदेश कांग्रेस में सबकुछ ठीक-ठीक नहीं चल रहा है। उत्तराखण्ड में कांग्रेस जहां एक तरफ हरीश रावत के बगावती तेवरों के चलते मुसीबत में दिखाई दे रही है। तो दूसरी तरफ विभिन्न क्षेत्रों में पार्टी नेताओं की नाराजगी भी खुलकर सामने आने लगी है। धनोल्टी विधान सभा के तहत कांग्रेस के नैनबाग और थत्यूड़ ब्लाक अध्यक्ष ने पीसीसी अध्यक्ष गणेश गोदियाल को चिट्ठी लिखकर अपनी नाराजगी जाहिर की है।
ब्लाक कांग्रेस कमेटी थत्यूड़ के अध्यक्ष सुरेन्द्र सिंह रावत ने पीसीसी अध्यक्ष को अपना इस्तीफा भी भेज डाला। सुरेन्द्र सिंह रावत ने नाराजगी जताते हुए कहा कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने उनको विश्वास में लिए बगैर ब्लाक में दो कार्यकारी अध्यक्षों की नियुक्ति की है। उन्होंने कहा कि किसी व्यक्ति विशेष के इशारे पर कांग्रेस कमेटी ने ये नियुक्तियां की गई है। उन्होंने कहा कि ऐसा मालूम होता है प्रदेश कमेटी को उनपर विश्वास नहीं रह गया है जिससे आहत होकर वे अपना इस्तीफा दे रहा हैं।
वहीं ब्लाक कांग्रेस कमेटी नैनबाग के अध्यक्ष प्रदीप कवि भी अध्यक्ष पद से हटाये जाने से बेहद आहत हैं। उन्होंने पीसीसी अध्यक्ष गणेश गोदियाल को लिखा है कि सोशल मीडिया के जरिये उन्हें मालूम हुआ कि उनके स्थान पर किसी अन्य व्यक्ति को ब्लाक अध्यक्ष नियुक्त कर दिया गया है।
उन्होंने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि नये ब्लाक अध्यक्ष कि नियुक्ति ऐसे व्यक्ति के इशारे पर की गई जिसने हमेशा कांग्रेस को कमजोर करने का काम किया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस कमेटी के इस कदम से पूरा नैनबाग ब्लाक के कांग्रेसी अपमानित महसूस कर रहे हैं।
उन्होंने पीसीसी अध्यक्ष से गुजारिश की है कि धनोल्टी विधानसभा के तहत हुई सांगठनिक नियुक्तियों पर पुनर्विचार किया जाय ताकि विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को होने वाले नुकसान से बचाया जा सके।
पार्टी के ब्लाक स्तर के नेताओं का इस तरह पार्टी के फैसले को लेकर नाराजगी कांग्रेस के लिए धनौल्टी विधानसभा में चुनाव से पहले किसी मुसीबत से कम नहीं है।