देहरादून। प्रशिक्षित बेरोजगार डिप्लोमा फार्मासिस्ट महासंघ का धरना रविवार को 11वें दिन भी जारी रहा। बेरोजगार फार्मासिस्ट गत 19 अगस्त से अपनी 14 सूत्री मांगों को लेकर धरने में पर है। इस दौरान महासंघ ने निदेशालय से लेकर विधानसभा का घेराव भी किया लेकिन अभी तक सरकार की तरफ से बेरोजगार फार्मासिस्टों को ठोस आश्वासन नहीं मिला सका है।
महासंघ के अध्यक्ष महादेव गौड़ ने बताया कि अभी तक सरकार की ओर से बेरोजगार फार्मासिस्टों की 14 सूत्री मांगों को लेकर टालमटोल का रवैया दिखाई दिया है। उन्हांेने बताया कि पहले सरकार की तरफ से कोई भी जिम्मेदार फार्मासिस्टों की 14 सूत्री मांगों को लेकर बातचीत करने को भी तैयार नहीं था लेकिन हमारे आंदोलन की ये बड़ी कामयाबी है कि सरकार में बैठे जिम्मेदार अब बातचीत के लिए सामने आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि 30 अगस्त को मुख्यमंत्री ने महासंघ को फार्मासिस्टों की 14सूत्री की मांगों को लिए मिलने का समय दिया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री से मुलाकात के बाद ही आंदोलन के लिए आगे की रणनीति तय की जाएगी। कहा कि जब तक सरकार की तरफ से बेरोजगार फार्मासिस्टों को ठोस आश्वासन नहीं मिल जाता उनका ये आंदोलन जारी रहेगा।
महासंघ के टिहरी ईकाई में मीडिया प्रभारी हरिप्रकाश सेनवाल ने बताया कि अपनी मांगों को लेकर समर्थन जुटाने के लिए महासंघ ने प्रदेश के सभी विधायकगणों से मुलाकात कर उन्हें अपनी मांगों का ज्ञापन सौंपा है। इसी सिलसिले को आगे बढ़ाते हुए महासंघ के पदाधिकारियों ने शनिवार को विधानसभा पहुंचकर कैबिनेट के मंत्रियों से मुलाकात की और बेरोजगार फार्मासिस्टों की 14 सूत्री मांगों से अवगत कराया। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य मंत्री और मुख्यमंत्री ने महासंघ के पदाधिकारियों को मिलने का समय दिया है।
गौरतलब है कि प्रशिक्षित बेरोजगार डिप्लोमा फार्मासिस्ट महासंघ वर्ष 2005-06 में उपकेन्द्रो पर सृजित फार्मासिस्ट के 536 पर आइपीएचएस मानकों में शिथिलता प्रदान करते हुए यथावत रखने, रिक्त पदों पर तत्काल भर्ती प्रक्रिया शुरू करने 600 उपकेन्द्रों पर संविदा के आधार पर की जा रही भर्ती के बजाय नियमित भर्ती करने, 1368 स्वास्थ्य उपकेन्द्रों पर फार्मासिस्ट के पद सृजित करने, राजकीय मेडिकल कालेजों में फार्मासिस्ट संवर्ग, पशु सेवा केन्द्रों एवं पशु चिकित्सा फार्मासिस्ट के बजाय आशा व आंगनबाड़ी कार्यकर्ता से दवा वितरण के प्रस्ताव पर रोक लगाने, सभी मेडिकल स्टोर में फार्मासिस्ट की अनिवार्यता, कारागार विभाग में फार्मासिस्ट की लिखित परीक्षा निरस्त करने, वन विभाग में फार्मासिस्ट के पदो का सृजन, प्रस्तावित भेषज सेवा नियमावली में संशोधन, फार्मासिस्ट संवर्ग का पुनगर्ठन की मांग को लेकर पिछले 10 दिनों से एकता बिहार धरना पर है।
धरने देने वालों में महासंघ अध्यक्ष महादेव गौड़, मीडिया प्रभारी हरि प्रकाश सेनवाल, धनपाल सिंह रावत संजीव बलूनी, लव बीर सिंह चौहान, सलेंदर नौटियाल, प्रकाश आर्य, नरेश चंद्र पुरी, मनोहर सिंह बोरा जय प्रकाश जोशी, इंदु डंगवाल आदि शामिल रहे।